पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले पर प्रतिक्रिया देते हुए पाकिस्तान की भूमिका से इनकार किया और इसे भारत के भीतर की “घरेलू बगावत” का परिणाम बताया। उन्होंने छत्तीसगढ़, मणिपुर, नागालैंड और कश्मीर जैसे राज्यों का उल्लेख करते हुए कहा कि इन क्षेत्रों में भारत सरकार के खिलाफ विद्रोह चल रहे हैं।
आसिफ ने एक पाकिस्तानी समाचार चैनल से बातचीत में कहा, “यह सब घरेलू है, भारत के विभिन्न तथाकथित राज्यों में सरकार के खिलाफ बगावतें चल रही हैं, न कि एक या दो, बल्कि दर्जनों।” उन्होंने छत्तीसगढ़ में जारी नक्सली हिंसा को भी इसी संदर्भ में ‘बगावत’ करार दिया।
भारत सरकार ने अभी तक आसिफ के इन बयानों पर आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि पाकिस्तान का यह रवैया भारत के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप के समान है और इससे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ सकता है।
छत्तीसगढ़ में हाल ही में बीजापुर जिले में सुरक्षा बलों द्वारा किए गए एक बड़े नक्सल विरोधी अभियान में 31 नक्सलियों को मार गिराया गया था, जिसमें दो सुरक्षाकर्मी भी शहीद हुए थे। इस अभियान में भारी मात्रा में हथियार और विस्फोटक बरामद किए गए थे। The Economic Times
विश्लेषकों का मानना है कि पाकिस्तान द्वारा भारत के आंतरिक मामलों पर इस तरह की टिप्पणियां करना दोनों देशों के बीच पहले से ही तनावपूर्ण संबंधों को और बिगाड़ सकता है।